झांसी न्यूज डेस्क: झांसी के महारानी लक्ष्मीबाई मेडिकल कॉलेज के पोस्टमार्टम हाउस में शव के साथ अमानवीयता का मामला सामने आने के बाद यूपी के डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक एक्शन में आ गए हैं। वायरल वीडियो का संज्ञान लेते हुए उन्होंने मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) से एफआईआर दर्ज कराने का आदेश दिया। साथ ही, झांसी के डीएम और एसएसपी को मामले में तुरंत कार्रवाई के निर्देश दिए।
वीडियो ने उभारे सवाल
सोमवार को सोशल मीडिया पर वायरल हुए इस वीडियो ने मानवता को शर्मसार कर दिया। वीडियो में दो लोग एक शव को पैर से कपड़ा बांधकर घसीटते हुए पोस्टमार्टम हाउस ले जाते दिख रहे हैं। इस घटना ने लोगों को झकझोर कर रख दिया। सीओ सिटी रामवीर सिंह ने बताया कि वायरल वीडियो की जांच शुरू कर दी गई है। वीडियो कब का है, इस पर भी पड़ताल की जा रही है।
सरकार और स्वास्थ्य विभाग की छवि पर हमला
डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने कहा कि वीडियो में दिख रहे दोनों व्यक्ति स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारी नहीं हैं। यह सरकार और स्वास्थ्य विभाग की छवि को धूमिल करने की कोशिश है। उन्होंने दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का भरोसा दिलाया।
पुरानी घटनाओं की भी उठी बात
इससे पहले भी झांसी में शव के साथ अमानवीय व्यवहार की घटना सामने आ चुकी है। एक मामले में एंबुलेंस से शव को उतारने के बजाय जमीन पर पटक दिया गया था, जिसके बाद एंबुलेंस मालिक के खिलाफ कार्रवाई हुई थी। स्वास्थ्य विभाग इन घटनाओं पर सख्त नजर बनाए हुए है।
पोस्टमार्टम प्रक्रिया पर अधिकारियों का बयान
सीएमओ डॉ. सुधाकर पाण्डेय ने कहा कि पोस्टमार्टम के लिए एक निश्चित प्रक्रिया है, जिसमें शव को सीलबंद करके पोस्टमार्टम हाउस भेजा जाता है। पोस्टमार्टम के बाद शव पुलिस को सौंप दिया जाता है। उन्होंने यह भी कहा कि वायरल वीडियो संभवतः दो-तीन साल पुराना हो सकता है, लेकिन इसकी सटीकता जांच के बाद ही स्पष्ट हो पाएगी।
डिप्टी सीएम ने सोशल मीडिया पर दी जानकारी
डिप्टी सीएम ने मंगलवार को इस घटना के बारे में सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर जानकारी दी। उन्होंने लिखा कि सीएमओ के निर्देश पर अज्ञात व्यक्तियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई गई है। जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक को भी सख्त कार्रवाई के लिए पत्र लिखा गया है। पाठक ने भरोसा दिलाया कि दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा।